ग्रीष्म ऋतु का सुपर फूड सहजन की फलियों का जूस

ग्रीष्म ऋतु का सुपर फूड सहजन की फलियों का जूस

भोपाल [ महामीडिया] देश के कई राज्यों में इन दिनों लू का प्रकोप है और हीट स्ट्रोक के कारण कई लोगों की तबीयत भी खराब हो रही है। उल्टी, दस्त होने के साथ-साथ पाचन भी खराब हो रहा है। ऐसे में तेज गर्मी से राहत पाने के लिए इस सीजन में आप सहजन की फलियों का जूस ले सकते हैं।आयुर्वेद में सहजन को औषधीय गुणों से भरपूर बताया गया है। इसे एक सुपर फूड माना जाता है। एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर सहजन की तासीर काफी ठंडी होती है और गर्मियों में इसकी सब्जी के साथ-साथ सूप भी पी सकते हैं। मोरिंगा की पत्तियों, बीज, छाल, जड़ें, रस, फूल सभी का उपयोग पारंपरिक चिकित्सा में किया जाता है। सहजन में फ्लेवोनोइड्स और पॉलीफेनोल्स जैसे एंटीऑक्सीडेंट होते हैं, जो समय से पहले होने वाली झुर्रियों से लड़ सकता है। यह त्वचा को जवां बनाए रख सकता है। ऐसे में गर्मियों में यह सनबर्न की समस्या से भी बचाता है। सहजन हार्ट के लिए फायदेमंद होता है। इसमें क्वेरसेटिन होता है, जो एक एंटीऑक्सीडेंट है। यह ब्लड प्रेशर को कंट्रोल करने में मदद करता है। हार्ट अटैक का खतरा कम होता है। हृदय पर ऑक्सीडेटिव तनाव को कम होता है।गर्मी के मौसम में कब्ज, गैस, अपच जैसी पाचन समस्या होना आम बात है। यदि आप सहजन का जूस पीते हैं तो पाचन ठीक होता है। पेट में गर्मी नहीं बढ़ती है। सहजन में फाइबर काफी ज्यादा होता है, जो आसानी से पच जाता है। मोरिंगा अपने क्लोरोजेनिक एसिड और आइसोथियोसाइनेट्स के माध्यम से ग्लूकोज के अवशोषण तेजी से होता है, जो ब्लड शुगर को कंट्रोल में रखता है। इसमें सूजन कम करने के भी गुण होते हैं। मोरिंगा जूस में एंटीऑक्सीडेंट होते हैं, जो शरीर को बीमारियों से बचाने में मदद करता है। इसके अलावा, मोरिंगा जूस शरीर में टॉक्सिंस बनने नहीं देता, जिस वजह से किडनी में स्टोन होने का रिस्क कम हो जाता है। इस तरह देखा जाए, तो यह किडनी के साथ-साथ पित्त की थैली यानी ब्लैडर के लिए भी उपयोगी है।

 

 

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