अंग्रेजी माध्यम की कई पाठ्यपुस्तकों को हिंदी नाम दिया गया

अंग्रेजी माध्यम की कई पाठ्यपुस्तकों को हिंदी नाम दिया गया

भोपाल [महामीडिया] राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद ने अंग्रेजी माध्यम की अपनी कई नई पाठ्यपुस्तकों को रोमन लिपि में हिंदी नाम दे दिए हैं। इनमें अंग्रेजी की पुस्तकें भी शामिल हैं। पुस्तकों को हिंदी शीर्षक दिए जाने के बाद एक नया विवाद खड़ा हो गया है। इस कदम के बाद शिक्षाविदों के बीच बहस छिड़ गई है। कुछ विशेषज्ञ इसे भ्रमित करने वाला और शैक्षिक परंपराओं से विचलन मान रहे हैं।  यह कदम गैर-हिंदी भाषी क्षेत्रों में हिंदी को बढ़ावा देने की कोशिश के रूप में देखा जा सकता है। तमिलनाडु जैसे राज्य इसका पहले ही विरोध कर चुके हैं।

उदाहरण के लिए कक्षा 6 की अंग्रेजी पाठ्यपुस्तक को पहले हनीसकल के नाम से जाना जाता था अब इसका नया नाम पूर्वी है। पूर्वी हिंदी शब्द है जिसका अर्थ पूर्व दिशा है। यह एक शास्त्रीय संगीत राग का भी नाम है। इसी तरह कक्षा एक और 2 की पाठ्यपुस्तकों को अब मृदंग और कक्षा 3 की किताबों को संतूर नाम दिया गया है। ये दोनों भारतीय वाद्य यंत्रों के नाम हैं। गणित की किताबों के लिए भी यही पैटर्न अपनाया गया है। कक्षा 6 की गणित की किताब जो पहले अंग्रेजी में मैथमेटिक्स और हिंदी में गणित थी अब दोनों भाषाओं में गणित प्रकाश के नाम से हैं। प्रस्तावना में कहा गया है कि पुस्तक में भारतीय ज्ञान प्रणालियों, सांस्कृतिक विरासत के तत्व शामिल हैं। इसमें लैंगिक समानता, डिजिटल कौशल और पर्यावरण की देखभाल जैसे मूल्यों को शामिल किया गया है।

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