दक्षिण भारतीय सिनेमा का रुझान म प्र.में बढ़ा

दक्षिण भारतीय सिनेमा का रुझान म प्र.में बढ़ा

भोपाल [महामीडिया] शूटिंग हब बन चुके मध्य प्रदेश में पिछले तीन सालों (वर्ष 2023 से 2025) में दो सौ से अधिक छोटे-बड़े प्रोजेक्ट शूट हुए हैं जिनमें 20 से भी ज्यादा साउथ की बड़े बजट की फिल्में हैं।राज्य ने अपनी विविध भौगोलिक स्थिति, ऐतिहासिक विरासत और फिल्म अनुकूल प्रशासनिक नीतियों के कारण दक्षिण भारतीय फिल्म उद्योग (तमिल, तेलुगु, कन्नड़ और मलयालम) को अपनी ओर आकर्षित किया है। नैसर्गिक सौंदर्य से भरपूर मप्र के इन गंतव्यों ने दक्षिण भारत की फिल्मों को सबसे ज्यादा आकर्षित किया है। इससे शूटिंग के दिन भी बढ़े हैं और सिनेमा पूरे प्रदेश में फैल गया है। कुछ दशकों पहले जो फिल्में मध्य प्रदेश के बड़े शहरों जैसे भोपाल, ग्वालियर, जबलपुर, इंदौर में शूट हुआ करती थीं, वो अब छोटे कस्बों जैसे महेश्वर, चंदेरी, ओरछा से होती हुई सीहोर जिले के महोदिया, बमुलिया और धमनखेड़ा, छिंदवाड़ा जिले के चिमटीपुर जैसे गांवों तक पहुंच गई हैं।

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