आने वाले नए साल में एकादशी व्रत की सूची 

आने वाले नए साल में एकादशी व्रत की सूची 

भोपाल [ महामीडिया] हिंदू धर्म में एकादशी व्रत का विशेष महत्व है। एकादशी तिथि शुक्ल पक्ष और कृष्ण पक्ष महीने में आती है, ऐसे में एक माह में दो बार एकादशी व्रत आता है। पूर्णिमा के पड़ने वाली एकादशी कृष्ण पक्ष की एकादशी कही जाती है, वहीं अमावस्या के बाद आने वाली एकादशी को शुक्ल पक्ष की एकादशी कही जाती है। पौराणिक मान्यताओं के मुताबिक एकादशी को 'हरि वासर' का भी नाम दिया गया है। आइए जानते हैं कि साल 2022 में एकादशी तिथि कब कब आने वाली है 2022 में एकादशी की तिथियां -
13 जनवरी - गुरुवार, पौष- पुत्रदा एकादशी
28 जनवरी - शुक्रवार, षटतिला एकादशी
12 फरवरी-शनिवार, जया एकादशी
27 फरवरी-रविवार, विजया एकादशी
14 मार्च-सोमवार, आमलकी एकादशी
28 मार्च-सोमवार, पापमोचिनी एकादशी
12 अप्रैल- मंगलवार, कामदा एकादशी
26 अप्रैल- मंगलवार, वरुथिनी एकादशी
12 मई- गुरुवार, मोहिनी एकादशी
26 मई-गुरुवार, अपरा एकादशी
11 जून-शनिवार, निर्जला एकादशी
24 जून-शुक्रवार, योगिनी एकादशी
10 जुलाई- रविवार, देवशयनी एकादशी
24 जुलाई- रविवार, कामिका एकादशी
08 अगस्त- सोमवार, श्रावण पुत्रदा एकादशी
23 अगस्त- मंगलवार, अजा एकादशी
06 सितंबर- मंगलवार, परिवर्तिनी एकादशी
21 सितंबर- बुधवार, इन्दिरा एकादशी
06 अक्तूबर- गुरुवार, पापांकुशा एकादशी
21 अक्तूबर- शुक्रवार, रमा एकादशी
04 नवंबर- शुक्रवार, देवोत्थान एकादशी
20 नवंबर- रविवार, उत्पन्ना एकादशी
03 दिसंबर- शनिवार, मोक्षदा एकादशी
19 दिसंबर- सोमवार, सफला एकादशी
एकादशी व्रत का धार्मिक महत्व-
पुराणों में एकादशी व्रत के प्रभाव का जिक्र किया गया है। धार्मिक मान्यता है कि एकादशी व्रत करने से पितरों को स्वर्ग मिलता है। स्कन्द पुराण में बताया गया है कि व्रत के दौरान व्रती को धान, मसाले और सब्जियों का सेवन नहीं करना चाहिए। एकादशी व्रत के दिन सुबह स्नान करके विधि विधान से भगवान विष्णु की पूजा अर्चना करना चाहिए। एकादशी के दिन नमक का सेवन नहीं करना चाहिए और उपवास रखना चाहिए।

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