आज मातृ नवमी
भोपाल [ महामीडिया] आज मातृ नवमी है। पितृपक्ष की नवमी तिथि पर घर-परिवार की मृत सुहागिन महिलाओं के लिए श्राद्ध कर्म करने की परंपरा है। जिन मृत महिलाओं की मृत्यु तिथि की जानकारी नहीं है, उनके लिए आज श्राद्ध, धूप-ध्यान, पिंडदान और तर्पण जरूर करें। मृत्यु के समय जो महिलाएं सुहागिन थीं यानी जिनके पति जीवित थे, उनके लिए श्राद्ध कर्म मातृ नवमी पर किए जाते हैं। पितृपक्ष की इस तिथि पर दान-पुण्य भी जरूर करना चाहिए। इस श्राद्ध को सौभाग्यवती श्राद्ध भी कहा जाता है. इस दिन गरीबों या ब्राह्मणों को भोजन कराने से सभी मातृ शक्तियों का आशीर्वाद प्राप्त होता है. सुबह स्नान करने के बाद घर की दक्षिण दिशा में हरा वस्त्र बिछाएं. सभी पूर्वज-पितरों के फोटो या प्रतीक रूप में एक सुपारी हरे वस्त्र पर स्थापित करें